
- नौ दलित सीटों पर खास नजर, पिछली बार यहां पर गिरे थे पार्टी के वोट।
उपचुनाव की 27 सीटों का रिव्यू करने आए भाजपा के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष ने मंत्रियों के रवैये पर कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने साफ कर दिया कि जिस भी मंत्री के क्षेत्र में हारे, उसकी माइनस मार्किंग होगी। जिताने पर सम्मान मिलेगा और जहां भी हार हुई तो उसके कारण सामने आने के बाद गाज भी गिर सकती है। मंत्री ही हार के लिए जिम्मेदार माने जाएंगे। जिलाध्यक्ष, विधानसभा प्रभारी और मंत्रियों के साथ संतोष ने बुधवार को बैठक की।
चुनाव प्रबंधन समिति के संयोजक व मंत्री भूपेंद्र सिंह ने बताया कि दायित्वों की समीक्षा हुई है। मंत्रियों से कहा गया है कि वे विजय दिलाने का प्रयास करें। बहरहाल, संतोष ने अलग-अलग बैठकों में यह भी साफ किया कि 27 सीटों में नौ दलित वर्ग की सीटें हैं। पिछली बार यहां वोट घटे थे। इस बार ऐसा नहीं होना चाहिए। फोकस इन सीटों पर भी ज्यादा रखें।
कुछ जगहों से प्रत्याशियों व विधानसभा प्रभारियों की तरफ से संकेत मिले थे कि कुछ नेता काम नहीं कर रहे। इस पर राष्ट्रीय संगठन महामंत्री ने साफ कर दिया कि शिवराज सरकार मजबूती से चलाने का यह चुनाव है। इसमें प्रत्याशी गौण है, पार्टी प्रमुख है। चर्चा के दौरान यह भी सामने आया कि अनूपपुर में रामलाल रौतेल समेत कुछ जगहों पर वे नेता काम नहीं कर रहे हैं, जो खुद चुनाव लड़ सकते थे। इसे भी पार्टी ने गंभीरता से लिया है।
बैठक में जयभान सिंह पवैया, माया सिंह, गौरीशंकर शेजवार, रुस्तम सिंह और लालसिंह आर्य भी मौजूद रहे। पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती, संतोष से मिलने पार्टी कार्यालय पहुंचीं।
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