
- टीचर से मार्गदर्शन लेने के लिए छात्र पालकों की अनुमति लेने के बाद आ सकेंगे।
- यह आदेश शासकीय और निजी दोनों ही तरह के स्कूलों पर बराबर से लागू हाेंगे।
मध्यप्रदेश में शासकीय और प्राइवेट स्कूल 21 सितंबर से सिर्फ आंशिक रूप से खुलेंगे। कक्षाएं नहीं लगाई जाएंगी, लेकिन 9वीं से 12वीं तक के छात्र परिजनों की अनुमति लेने के बाद टीचर से पढ़ने थोड़े समय के लिए ही आ सकेंगे। हालांकि शिक्षकों को अब स्कूल नियमित रूप से आना होगा।
विद्यार्थी और शिक्षक के बीच संवाद छोटे-छोटे समूह में पर्याप्त समय के अंतराल से होगा। कोविड संक्रमण से बचाव के लिए स्कूलों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी की गई स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसीजर (एसओपी) का सख्ती से पालन करना होगा। इस संबंध में शासन ने आदेश जारी कर दिए हैं। अभी शिक्षक घर से बच्चों को ऑन लाइन पढ़ा रहे थे। अब उन्हें स्कूल आने की अनिवार्यता कर दी गई है।
यह व्यवस्था थी अभी तक
स्कूल में एक-दूसरे के बीच कम से कम छह फीट की दूरी रखना अनिवार्य है। पूरे समय फेस-कवर या मास्क का उपयोग करने के साथ ही साबुन से बार-बार हाथों को धोना या उन्हें सैनिटाइज करना जरूरी होगा। विद्यालय की सभी ऐसी सतहों एवं उपकरणों का कक्षा प्रारंभ होने एवं समाप्ति के बाद एक प्रतिशत हाइपो क्लोराइड के उपयोग से डिसइन्फेक्शन (कीटाणु शोधन) करना होगा। स्कूल में केवल कोरोना निगेटिव व्यक्तियों को ही प्रवेश की अनुमति होगी। विद्यालय में कोविड-19 के निवारक उपायों संबंधी जानकारी प्रदर्शित किए जाएंगे।
पॉजिटिव आने पर पूरा परिसर सैनिटाइज होगा
छात्र, शिक्षक या कर्मचारी द्वारा बुखार, खांसी या श्वांस लेने में कठिनाई होने पर निकटतम चिकित्सा सुविधा संस्थान को तुरंत सूचित करना जरूरी है। उसका चिकित्सीय परामर्श लेना होगा। यदि व्यक्ति पॉजिटिव आता है, तो पूरे परिसर को सैनिटाइज किया जाएगा।
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